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चंदा मामा के पास जाएगा भारत का वायु—मित्र, 2024 में महिला रोबोट उतारने की तैयारी

दिल्ली आजकल ब्यूरो , दिल्ली 

22 अगस्त 2023

चांद पर भारत का अपना यान जल्द उतरने वाला है. इसको लेकर देश के अंदर काफी उत्सुकता है. यही नहीं, ऐसे समय में जब रूस का चंद्रयान वहां पर उतरने से पहले क्रैश हो गया है. भारत के चंद्र मिशन को लेकर दुनिया के भी देशों की नजर लगी हुई है. यह माना जा रहा है कि इस बार चांद पर भारत के विक्रम रोवर की लैंडिंग बहुत ही बेहतर तरीके से हो जाएगी. इसकी वजह यह है कि इस बार पहले के चंद्रयान मिशन से सीख लेते हुए काफी बेहतर कदम उठाए गए हैं. लेकिन इससे भी रोचक तथ्य यह है कि भारत चांद पर पहली महिला रोबोट भेजने की भी तैयारी में जुट गया है. यह मिशन 2024 में अंजाम दिया जाएगा. इसको लेकर काफी तेजी से कार्य भी किया जा रहा है.

एक वरिष्ठ सरकारी सूत्र ने कहा कि एक बार जब विक्रम रोवर की चांद पर लैंडिंग हो जाएगी तो उसके बाद क्या. इस सवाल के जवाब को खोजा गया. जिसके उपरांत यह तय किया गया कि इसी समय से चांद पर मानव भेजने को लेकर भी भारत को अपनी तैयारी शुरू कर देनी चाहिए. इसके लिए चरणबद्ध कार्यक्रम तैयार किया जा रहा है. यह मिशन सफल रहने पर सितंबर या अक्टूबर में एक अन्य यान भेजा जाएगा. उसके उपरांत 2024 के दूसरे हिस्से में एक रोबोट को चांद की सतह पर उतारा जाएगा. इस रोबोट को महिला रोबोट वायु—मित्र नाम दिया गया है. इसको लेकर भी कार्य शुरू कर दिया गया है. यह रोबोट वहां पर लंबे समय तक रहेगा. वहां से संबंधित फोटो और अन्य सूचनाएं भेजेगा. जो आने वाले समय में चांद पर भारत की ओर से मानव भेजने की धरती तैयार करेगा.

इस सरकारी सूत्र ने कहा कि चांद पर एक दिन पृथ्वी के 14 दिन के बराबर है. किसी भी विशिष्ट कार्य को करते समय हमेशा महिलाओं को प्रथम भूमिका में रखा जाता है. यह सभी जानते हैं कि मकान को महिलाएं ही घर बनाती हैं. उनके योगदान से हर कार्य बेहतर और उत्कृष्ट बनाने में सफलता मिलती है. इसी सोच के साथ चांद पर भेजे जाने वाले रोबोट को महिला रोबोट की संज्ञा देते हुए उसका नाम वायु—मित्र रखा जा रहा है. चांद पर यह एक नया इतिहास रचने वाला रोबोट होगा. ऐसे में अगर उसको महिला रोबोट कहा जाएगा तो यह भारतीय सांस्कृतिक पद्धति की मान्यताओं का परिचायक भी होगा. यही वजह है कि रोबोट को महिला रोबोट कहा जा रहा है. यह दुनिया के सामने भारत की ओर से महिला सशक्तीकरण का भी बड़ा संदेश होगा. 

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